नए स्लैब के ऐलान होने के बाद गोल्ड की कीमतें नीचे आयीं
नई दिल्ली 7 सितंबर। किचन और आम लोगों की जिंदगी से जुड़े अहम सामानों पर जीएसटी को कम कर दिया गया है। कुछ सामानों को जीएसटी के दायरे से बाहर किया गया है तो कुछ सामान पर 5 फीसदी की जीएसटी के दायरे में रखा गया। लग्जरी, प्रीमियम और सिन प्रोडक्ट्स पर 40 फीसदी का स्पेशल टैक्स स्लैब है लेकिन एक ऐसा भी सामान है, जो इन स्लैब के दायरे में नहीं आता। जीएसटी रिफार्म के बाद भी गोल्ड की वैल्यू पर अभी भी जीएसटी सिर्फ 3 फीसदी की है। ये इकलौता आइटम है जिस पर 3 फीसदी जीएसटी लागू है।
इंडस्ट्री को लग रहा था कि सोने के गहनों के मेकिंग चार्ज पर लगने वाला जीएसटी बढ़ जाएगा लेकिन ऐसा देखने को नहीं मिला, जिसकी वजह से जीएसटी रिफार्म और नए स्लैब के ऐलान होने के बाद गोल्ड की कीमतें धराशाई हो गई। गोल्ड और उसके गहनों पर लगने वाले जीएसटी में कोई बदलाव नहीं हुआ है। गोल्ड की वैल्यू पर 3 फीसदी जीएसटी अभी कायम है साथ ही मेकिंग चार्ज पर 5 फीसदी अभी कायम है। उम्मीद की जा रही थी कि मेकिंग चार्ज को या तो 28 फीसदी या फिर 40 फीसदी दायरे में रखा जाएगा लेकिन ऐसा देखने को नहीं मिला। जिसकी वजह से देश के वायदा बाजार में गोल्ड की कीमतों में गिरावट देखने को मिल रही है।
गोल्ड की वैल्यू पर जीएसटी अलग से लगता है क्योंकि ये प्रोडक्ट इंपोर्ट होता है। महंगा होने की वजह से इस पर जीएसटी कम रखा गया है लेकिन सोने के गहनों की मेकिंग अपने देश में ही होती है, ऐसे उस मेकिंग पर जीएसटी अलग से लगाया जाता है जोकि मौजूदा समय में 5 फीसदी है। इस पर कोई बदलाव नहीं किया गया है।
इससे पहले अनुमान था कि गोल्ड की वैल्यू पर तो नहीं लेकिन मेकिंग चार्ज पर जीएसटी में जरूर इजाफा किया जाएगा। जिसकी वजह से राजधानी दिल्ली में लगातार सोने की कीमतों में इजाफा देखने को मिल रहा था। वैसे सोने की कीमतों में तेजी के दूसरे भी अहम कारण थे।
सोने की कीमतों में बड़ी गिरावट देखने को मिली है। दिल्ली सर्राफा बाजार के आंकड़ों के अनुसार गोल्ड की कीमत में 1000 रुपए की गिरावट देखी गई है जिसके बाद कीमतें लाइफ टाइम हाई से 1,06,070 रुपए प्रति 10 ग्राम पर आ गईं। जबकि 99.9 फीसदी प्योरिटी वाला गोल्ड 1,07,070 रुपए के साथ रिकार्ड लेवल पर था। वहीं 99.5 फीसदी प्योरिटी वाला सोना में भी गिरावट देखी गई।









