ग्रामसभा गुदमी में बित्त आयोग और मनरेगा कार्यों की जांच शुरू ।

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बनबसा 23 सितंबर । शिकायतकर्ता ललित कालौनी की शिकायत पर
ग्रामसभा गुदमी में वित्त आयोग और मनरेगा के तहत कराए गए कार्यों की जांच शुरू हो गई है। खंड विकास अधिकारी चम्पावत के निर्देश पर मंगलवार को जांच को पहुंची टीम में सहायक विकास अधिकारी राकेश नाथ गोस्वामी, सहायक समाज कल्याण अधिकारी विपिन सिंह बिष्ट और ग्राम निर्माण विभाग के कनिष्ठ अभियंता वरुण कुमार गौतम शामिल थे।

जांच की शुरुआत पंचायत भवन में हुई, जहां शिकायतकर्ता ने दर्जनों ग्रामीणों की मौजूदगी में अपने 12 बिंदुओं को विस्तार से रखा। ग्रामीणों ने भी कहा कि कार्यों में भारी अनियमितता हुई है और सरकारी धन का दुरुपयोग हुआ।जांच अधिकारियों ने पंचायत भवन और रामलीला मंच पर लगाए गए टाइल, स्वजल योजना के सामुदायिक शौचालय और ग्राम पंचायत निधि से बनी सड़कों का निरीक्षण किया। ग्रामीणों ने इन कार्यों की गुणवत्ता पर सवाल उठाए और मौके पर ही भ्रष्टाचार की ओर इशारा किया।
शिकायतकर्ता ललित कालौनी ने आरोप लगाया कि जांच के दौरान आरोपी जसवंत बसेड़ा ने निरीक्षण को प्रभावित करने की कोशिश की और सड़कों का दौरा करवाया, जबकि पूर्व ग्राम प्रधान विनीता राणा स्वास्थ्य कारण बताकर मौके से चली गईं। जांच में सबसे चौंकाने वाली बात यह रही कि ग्राम पंचायत विकास अधिकारी रीता बिष्ट अपने साथ कोई अभिलेख नहीं लाईं, जबकि खंड विकास अधिकारी के आदेश में यह स्पष्ट रूप से लिखा था कि सभी दस्तावेज़ जांच टीम को दिखाना अनिवार्य है।
शिकायतकर्ता का कहना है कि बिना बिल और रिकॉर्ड के किए गए कार्य भ्रष्टाचार को साबित करते हैं। पंचायत भवन की छत से पानी टपकना, सिंचाई विभाग की भूमि पर शौचालय का निर्माण और ग्राम पंचायत विकास अधिकारी द्वारा बिल न देना जैसी घटनाएं पहले ही कई गड़बड़ियों को उजागर करती हैं।आज की कार्यवाही जांच का पहला चरण माना गया, जिसमें केवल सड़कें, पंचायत भवन और सामुदायिक शौचालय का निरीक्षण किया गया। शिकायत में दर्ज अन्य कार्यों की जांच अभी बाकी है।
ग्रामीणों ने मांग की है कि जांच अधूरी न छोड़ी जाए और सभी बिंदुओं पर निष्पक्ष कार्रवाई हो, तभी ग्रामसभा गुदमी में हुए वास्तविक भ्रष्टाचार की पूरी तस्वीर सामने आएगी।

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